लंदन, [15 जुलाई, 2025]: इंग्लैंड के खिलाफ मौजूदा टेस्ट श्रृंखला में भारत 2-1 से पीछे चल रहा है और लॉर्ड्स में मिली करारी हार ने भारतीय मध्य क्रम की बल्लेबाजी को सवालों के घेरे में ला दिया है। ऐसे में घरेलू क्रिकेट में लगातार शानदार प्रदर्शन करने वाले अभिमन्यु ईश्वरन को टीम में शामिल करने की मांग एक बार फिर जोर पकड़ रही है।
करुण नायर की लंबे समय बाद टीम में वापसी हुई है, लेकिन उनका प्रदर्शन औसत दर्जे का रहा है, जिससे मध्य क्रम को अपेक्षित मजबूती नहीं मिल पाई है। वहीं, साई सुदर्शन, जिन्हें टी20 फॉर्म के आधार पर टेस्ट टीम में जगह मिली है, टेस्ट क्रिकेट के लिए उपयुक्त बल्लेबाज साबित नहीं हुए हैं और उनका प्रदर्शन भी कुछ खास नहीं रहा है। लॉर्ड्स टेस्ट में भारतीय टीम को एक ठोस मध्य क्रम के बल्लेबाज की कमी साफ खली, जो दबाव में विकेट पर टिककर रन बना सके। इन परिस्थितियों में अभिमन्यु ईश्वरन एक बेहतरीन विकल्प साबित हो सकते हैं। घरेलू क्रिकेट में उनका प्रदर्शन यह दर्शाता है कि वह एक बेहतरीन बल्लेबाज हैं, जो लंबी पारियां खेलने और दबाव को झेलने में सक्षम हैं। उन्होंने लगातार रन बनाए हैं और फर्स्ट-क्लास क्रिकेट में उनका औसत प्रभावशाली रहा है। कई बार उन्हें भारतीय टीम में शामिल किया गया है, लेकिन अंतिम एकादश में उन्हें जगह नहीं मिल पाई है।
यह समझना मुश्किल है कि इतने शानदार घरेलू रिकॉर्ड के बावजूद ईश्वरन को क्यों लगातार नजरअंदाज किया जा रहा है। उनकी तकनीक, धैर्य और बड़ी पारियां खेलने की क्षमता टेस्ट क्रिकेट के लिए बिल्कुल उपयुक्त है। खासकर जब टीम को मध्य क्रम में स्थिरता और अनुभव की जरूरत हो, तो ईश्वरन जैसे बल्लेबाज की उपेक्षा करना टीम के लिए महंगा साबित हो सकता है। आगामी टेस्ट मैचों में, जहां भारत को वापसी करने के लिए हर विभाग में बेहतर प्रदर्शन करना होगा, चयनकर्ताओं के सामने ईश्वरन को अंतिम एकादश में शामिल करने का दबाव बढ़ सकता है। टीम प्रबंधन को यह विचार करना होगा कि क्या मौजूदा मध्य क्रम के साथ वे श्रृंखला जीत सकते हैं, या फिर उन्हें ईश्वरन जैसे खिलाड़ी को मौका देकर बल्लेबाजी को मजबूत करने की जरूरत है। भारतीय क्रिकेट प्रशंसकों को उम्मीद है कि टीम प्रबंधन इस महत्वपूर्ण मोड़ पर सही निर्णय लेगा और ऐसे खिलाड़ी को मौका देगा जो वास्तव में हकदार है।
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